यह हैं समस्याएं
सड़कें क्षतिग्रस्त होने की वजह से आवागमन बना रहता है मुश्किल।
सामुदायिक बरात घर न होने से आयोजनों में होती है दिक्कत।
नलों में पानी न आने से ग्रामीणों को करना पड़ता है पेयजल संकट का सामना।
गांव के बच्चों और युवाओं को खलती है खेल मैदान की कमी।
बीते चार साल की उपलब्धियां
ग्राम पंचायत में 25 सीसी सड़क और 100 आवासों का हुआ निर्माण।
ग्राम पंचायत में स्थित वृद्धाश्रम का हुआ सौंदर्यीकरण।
अमृत सरोवर का हुआ निर्माण।
माधोपुरा प्राथमिक विद्यालय का सौंदर्यीकरण किया गया।
इनका यह है कहना
ग्राम प्रधान रेखा देवी का कहना है कि गांव में विकास कार्य लगातार किए जा रहे हैं। कुछ कार्य शेष भी हैं, जिन पर जल्द काम शुरू किया जाएगा। गांव के ज्यादा से ज्यादा पात्र लोगों को सरकारी योजनाओं के लाभ से लाभान्वित तकराया जा रह है।
सत्येंद्र सिंह ने कहा कि जल जीवन मिशन के तहत डाली गई पाइपलाइन की वजह से गांव की सड़कों की दशा खराब हो गई है। इसके अलावा अब तक घरों तक पानी भी नहीं पहुंच पाया है। यह व्यवस्थाएं दुरुस्त की जानी चाहिए।
नवाब खान ने बताया कि मुख्य सड़क से सटा गांव होने की वजह से यहां दिन भर तेज रफ्तार से वाहनों का आवागमन लगा रहता है। ऐसे में सड़क पर स्पीड ब्रेकर की नितांत आवश्यकता है। इस कमी को दूर किया जाना चाहिए।
कृष्णप्रताप सिंह बुंदेला ने कहा कि बड़ी आबादी वाले इस गांव में एक इंटर कालेज होना चाहिए ,जिससे छात्र-छात्रा को गांव में ही शिक्षा मिल सके। अभी यहां के बच्चों को 10वीं और 12वीं की पढ़ाई के लिए 12 किमी दूर गुरसराय जाना पड़ता है।
खंड विकास अधिकारी सौरभ कुमार का कहना है कि ग्राम पंचायत भसनेह में विकास कार्यों का क्रम लगातार बना हुआ है। ग्रामीणों को सरकारी योजनाओं का लाभ भी दिलाया जा रहा है। कई कार्य और होना अभी बाकी हैं।
