संवाद न्यूज एजेंसी
झांसी। अतिवृष्टि में नष्ट होने वाली फसलों की बीमा योजना का फायदा किसानों को बहुत ही कम मिल पा रहा है। जिले में 2.90 लाख किसान हैं, लेकिन फसली बीमा योजना का लाभ महज 30,036 किसानों को ही मिल सका है। यह आंकड़ा पिछली साल की तुलना में एक चौथाई ही है। इसके लिए किसानों को प्रीमियम कटवाना होता है। किसानों के पास 24 जुलाई तक प्रीमियम कटवाने के आवेदन करने का मौका है।
किसान सम्मान निधि हो या फिर फसल बीमा योजना सहित कई लाभकारी योजनाएं होते हुए भी किसान इसका फायदा नहीं ले पाते हैं। इसे जागरुकता का अभाव कहें या फिर अधिकारियों की हीलाहवाली, आम किसान इन लाभों से अब तक वंचित है। इस साल अति वर्षा के कारण फसलों का नुकसान पहुंच रहा है। सूखा पड़ता तो भी नुकसान होता। ऐसे में फसली बीमा से किसान के नुकसान की भरपाई की गुंजाइश थी, लेकिन पंजीकृत 2.90 लाख किसानों में से अब तक सिर्फ 30,036 किसानों ने ही अपनी फसल का बीमा कराया है। बुधवार को आयोजित तहसील दिवस में किसानों का दर्द झलक रहा था और अपनी पीड़ा से एडीएम को अवगत कराया था। जबकि, पिछले साल खरीफ के सीजन में 1,07,000 किसानों ने फसली बीमा योजना का लाभ लिया था। फसल बीमा की राशि, फसल के प्रकार, क्षेत्र और बीमा कंपनी निर्धारित करती है। किसानों को खरीफ फसलों के लिए दो प्रतिशत और रबी फसलों के लिए डेढ़ प्रतिशत का एक समान प्रीमियम देना होता है। इस संबंध में कृषि अधिकारी कुलदीप मिश्र ने बताया कि किसानों के अब भी बीमा कराने का समय है। इसलिए समय से वह अपना आवेदन विभाग में जमा कराएं और इसका लाभ उठाएं।
बीमा का ऐसे लें लाभ
किसान को फसल बीमा पाने के लिए टोल-फ्री नंबर 1800-103-5490 या फिर 14447 पर सीधे 72 घंटों के भीतर नुकसान की सूचना देनी होती है। बीमा कंपनी, संबंधित बैंक, स्थानीय कृषि विभाग, सरकारी या जिला अधिकारियों या राष्ट्रीय फसल बीमा पोर्टल पर भी सूचना दी जा सकती है। टीम के सर्वे करने के बाद किसानों को नुकसान के आधार पर ही लाभ दिया जाता है।