संवाद न्यूज एजेंसी, आगरा

Updated Sun, 19 Oct 2025 02:48 AM IST

After 25 years, he received Rs 1.69 lakh from the builder instead of Rs 15,000



आगरा। युवक ने 1999 में बिल्डर को मकान खरीदने के लिए 2 लाख रुपये दिए। उसे बाद में पता चला कि मकान का पहले से अदालत में केस चल रहा है। रकम वापस मांगी तो बिल्डर ने 1.85 लाख लौटाए। आयोग के अध्यक्ष ने मैसर्स सिंह एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड के डायरेक्टर से 25 साल बाद ब्याज सहित 1.69 लाख रुपये चेक लेकर वादी को सौंप दिया।

Trending Videos

कमला नगर के कर्मयोगी एन्क्लेव निवासी दिनेश चंद ने 3 जुलाई 1999 को मैसर्स सिंह एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड के डायरेक्टर डॉ. एसपी सिंह के खिलाफ आयोग में वाद दायर किया था। उन्होंने आरोप लगाया था कि बिल्डर को शास्त्री नगर खंदारी में निर्मित कॉलोनी में मकान खरीदने के लिए 2 लाख चेक से और 10 हजार रुपये नगद दिए थे। उस जमीन के स्वामी ने अदालत में मुकदमा दायर कर रखा था। इस पर अपनी रकम बिल्डर से वापस मांगी, तो 1.85 लाख रुपये वापस किए। 23 जुलाई 2009 को उपभोक्ता आयोग ने 10 हजार रुपये नगद की रसीद न होने पर 15 हजार रुपये 12 प्रतिशत वार्षिक ब्याज सहित विपक्षी से दिलाने का आदेश पारित किया। विपक्षी बिल्डर ने राज्य उपभोक्ता आयोग में आदेश के विरुद्ध अपील दायर कर दी। राज्य उपभोक्ता आयोग ने विपक्षी की अपील खारिज कर अधीनस्थ न्यायालय के आदेश को यथावत रखा।



Source link

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *