
आंखों में जलन और खुजली की समस्या
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ताजनगरी आगरा में गर्मी और उमस से आंखों में कंजंक्टिवाइटिस के मरीज बढ़ गए हैं। इसमें आंखें लाल होना, जलन, खुजली, पानी आने की शिकायतें मिल रही हैं। आपको या परिवार के किसी सदस्य को आंखों में दिक्कत हो तो डॉक्टर की परामर्श लें। अपने मन से घर में रखा पुराना ड्रॉप कतई न डालें।
नेत्र रोग विशेषज्ञों के पास औसतन 50 से 60 मरीज ओपीडी में आ रहे हैं। इसमें बच्चों की संख्या भी ज्यादा है। आंखों में करकराहट, जलन-खुजली होने पर आंख रगड़ने से 10-15 मरीजों की कॉर्निया पर जख्म मिले हैं। इनमें 80 फीसदी से अधिक बच्चे हैं। तेज धूप, धूल, धुआं और दूषित हाथों से आंखों को छूने से ये परेशानी बढ़ रही हैं। दर्द होने पर मरीज डॉक्टरों को दिखाने पहुंच रहे हैं। इनमें कई ऐसे हैं, जिन्होंने घर में पुरानी ड्रॉप डाल ली, जिससे उसमें संक्रमण और बढ़ गया।
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तय तापमान न मिलने से खराब होते ड्रॉप
ओपीडी में ऐसे 5-8 मरीज आ रहे हैं, जिन्होंने घर में रखी पुरानी ड्रॉप डाल ली थी। कई बार तय तापमान न मिलने के कारण ड्रॉप की गुणवत्ता खराब हो जाती है। ऐसे मरीजों ने आंखों में सूजन, दर्द, अस्थायी धुंधलापन की शिकायतें बताईं। इनको दवा और ड्रॉप दी गई। आंखों में दिक्कत होने पर डॉक्टर के परामर्श से ही ड्रॉप आंखों में डालें। -डॉ. निखिल गुप्ता, नेत्र रोग विशेषज्ञ
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इन बातों का भी रखें ख्याल:-
- धूल-धूप में जाते वक्त अच्छी गुणवत्ता का काला चश्मा लगाएं।
- धूल, जाने पर आंखों को साफ और ताजे पानी से धोएं।
- गंदे और दूषित हाथों को आंखों से न लगाएं, रगड़ने की गलती न करें।
- तय तापमान में रखी एक महीने तक ही आई ड्रॉप का इस्तेमाल करें।