
Amar Ujala Samvad
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अमर उजाला संवाद कार्यक्रम का पहला सत्र राम मंदिर से राष्ट्र मंदिर विषय पर केंद्रित रहा। इस सेशन में राज्यसभा सांसद डा सुधांशु त्रिवेदी, रामलला की प्रतिमा बनाने वाले मूर्तिकार अरुण योगीराज और आचार्य मिथिलेश नंदिनी शरण मौजूद रहे। अरुण योगीराज ने कहा कि इस मूर्ति का निर्माण जून से शुरू हुआ था। इसके बाद जेहन में सिर्फ राम की प्रतिमा और छवि थी। योगीराज ने कहा कि हमने 22 जनवरी को 500 साल का सपना को पूरा होते देखा।
आचार्य मिथिलेश नंदिनी शरण ने कहा कि अयोध्या ने बहुत आंसू बहाएं हैं। बधाई इस बात की अयोध्या ने अपने आप को धन्य कर लिया है। राम ने उन आंसुओं को तीर्थ में परिवर्तित कर दिया है। आचार्य नंदिनी शरण ने कहा कि राम के आगमन से अयोध्या में उत्सव नहीं है। मैं देश के जिस कोने में जा रहा हूं वहां ये उत्सव मनाया जा रहा है।
राज्यसभा सांसद सुंधाशु त्रिवेदी ने कहा कि जब हम बच्चे थे तो हम एक नारा सुन रहे थे कि सौगंध राम की खाते हैं मंदिर वही बनाएंगे। यह नारा हम बचपन से सुन रहे थे जब यह पूरा हुआ तो खुशी की कोई सीमा नहीं रही।