सड़क हादसों में होने वाली 30 प्रतिशत मौतों का कारण हेलमेट न लगाना होता है। सिर्फ हेलमेट लगाने से ही इन 30 प्रतिशत लोगों की जान बचाई जा सकती है? कितना अच्छा हो कि अगर हेलमेट भी स्मार्ट हो जाए और संभावित दुर्घटना को टाल सके। कुछ इसी विचार के साथ आगरा कॉलेज इंजीनियरिंग संकाय के मैकेनिकल इंजीनियरिंग के छात्रों ने स्मार्ट हेलमेट तैयार किया है। जो न केवल चालक की सुरक्षा करेगा बल्कि हादसा होने के एक मिनट बाद ही उसकी सूचना दर्ज मोबाइल पर भी भेजेगा।
स्मार्ट हेलमेट प्रोजेक्ट के कोऑर्डिनेटर राहुल जैन ने बताया कि हेलमेट की तकनीकी संरचना अत्याधुनिक है। इसमें एक स्मार्ट चिप और सेंसर लगाया गया है, जो सीधे वाहन के इंजन से जुड़ा रहेगा। एक मॉड्यूल उस वाहन में लगाया जाएगा जिस पर व्यक्ति बैठेगा। सेंसर पहचानेगा कि व्यक्ति नशे की हालत में तो नहीं है अगर ऐसा होता है तो गाड़ी का इंजन चालू नहीं होगा। साथ ही अगर हेलमेट सही तरह से नहीं लगाया गया है या लॉक नहीं लगाया गया है तब भी इंजन स्टार्ट नहीं होगा। छात्र यश उप्रेती ने बताया कि हेलमेट में वॉइस असिस्टेंट और ब्लूटूथ सिस्टम भी जोड़ा गया है। चालक को कॉल आने पर हेलमेट में लगे एक इंटरनल स्पीकर के माध्यम से बातचीत की सुविधा मिलेगी। इसे इस तरह डिजाइन किया गया है कि दूसरे कान से बाहरी आवाजें सुनने में कोई बाधा न हो और सड़क सुरक्षा बनी रहे।
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12000 रखी जाएगी कीमत
प्रोजेक्ट पर काम कर रहे छात्र आयुश शर्मा ने बताया कि बीते 4 महीनें से इस प्रोजेक्ट पर कार्य किया जा रहा है। जो कि जनवरी तक कंप्लीट हो जाएगा। अभी इसमें एप और अन्य एआई आधारित फीचर्स भी जोड़ने पर काम चल रहा है। मार्केट में इसकी कीमत 12000 रखी जाएगी।
एसओएस बोलते ही अलर्ट होगा
छात्रा संजना चौहान बताती हैं कि स्मार्ट हेलमेट की सबसे बड़ी विशेषता इसका ऑटोमैटिक अलर्ट सिस्टम है। हेलमेट में सिम कार्ड लगाने की सुविधा दी जा रही है। इसमें एक नंबर एड हो सकता है। जैसे ही दुर्घटना होगी तो उस नंबर पर हादसे की सूचना पहुंचेगी। वहीं, एआई आधारित वाॅइस असिस्टेंट के जरिए एसओएस बोलते ही आवश्यक सेवाओं के लिए दर्ज आपातकालीन नंबरों तक सूचना पहुंच जाएगी। खास बात यह है कि 1 मिनट बाद ये पॉप अप भेजेगा। जिससे गलत सूचना न पहुंचे। उदाहरण के लिए अगर हेलमेट किसी कारणवश गिर गया तो सूचना नहीं पहुंचेगी इसलिए ये 1 मिनट का समय लेगा।
उपयोगी तकनीक
प्राचार्य प्रो. सीके गौतम ने बताया कि यह प्रयास सराहनीय और कॉलेज के लिए एक उपलब्धि है। इस तरह के इनोवेशन युवाओं को न केवल रोजगार के नए अवसर देंगे बल्कि समाज के लिए उपयोगी तकनीक भी विकसित करेंगे।
