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गोरखपुर के पादरी बाजार के शाहपुर इलाके की बैंक कॉलोनी में रविवार सुबह सेवानिवृत रेलकर्मी और उनके बेटे का शव कमरे में मिला। रेल कर्मी का शव सोफे और बेटे का शव बेड पर पड़ा था। सुबह नौकरानी झाड़ू पोंछा करने पहुंची तो घटना की जानकारी हुई। सूचना पर पहुंची पुलिस ने छानबीन के बाद शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। हालांकि रिपोर्ट में मौत की वजह स्पष्ट नहीं हो सकी। विसरा सुरक्षित किया गया है। अब इसकी जांच के बाद मौत का राज खुल सकेगा।

पूर्वोत्तर रेलवे में पार्सल अधीक्षक रहे अवधेश शर्मा (85) 2003 में सेवानिवृत हुए तो बैंक कॉलोनी में मकान बनवाकर परिवार के साथ रहने लगे। पत्नी की तीन साल पहले मौत हो गई। बड़ा बेटा अरविंद शर्मा अपने परिवार के साथ मकान के प्रथम तल पर रहता है। भू-तल के कमरे में अवधेश शर्मा छोटे बेटे अश्वनी शर्मा (45) के साथ रहते थे। अश्विनी की पत्नी और बच्चे गुजरात के सूरत शहर में रहते हैं। बताया जा रहा की अश्विनी शराब पीने के आदी हो गए थे। नौकरानी पुनीता देवी दोनों वक्त आकर खाना बनाती थीं। उसने बताया कि शनिवार रात 9 बजे तक सब ठीक था। रविवार सुबह आठ बजे पहुंची तो दोनों का शव कमरे में पड़ा हुआ था।




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Dead bodies of retired railway employee and his son found in house in Gorakhpur

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कमरे में मिले बाप-बेटे के शव
– फोटो : अमर उजाला


पिता को पिलाया सूप… खुद खाया पिज्जा

सेवानिवृत्त रेलकर्मी को छोटे बेटे अश्वनी ने शनिवार शाम को सूप पिलाया था। उस वक्त वह सिरदर्द (माइग्रेन) से तड़प रहा था। एक तरफ पिता को सूप पिला रहा था, दूसरी तरफ दर्द होने पर चिल्ला रहा था। इसके बाद खुद पिज्जा खाया और दर्द की दवा ली। ये बातें घर में काम करने वाली पुनीता ने बताई। पुनीता ने बताया कि रिटायर्ड रेलकर्मी के घर में वह छह माह से काम कर रही है। घर में हमेशा गेहूं की दलिया और सूप बनाती थी। अश्वनी अधिकतर बाहर से पिज्जा या कुछ भी खाने के लिए मंगाते थे। शनिवार शाम सूप बनाया था, जिसे अश्वनी ने अपने हाथ से पिता को पिलाया था। उस समय अश्वनी बोल रहा था कि सिर में बहुत दर्द हो रहा है, पीने की आदत की वजह से कुछ पूछा नहीं। बाद में उन्हें उल्टी भी खूब हुई थी। 


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अवधेश शर्मा का फाइल फोटो
– फोटो : अमर उजाला


पड़ोसियों से नहीं होती थी बातचीत

बैंक कॉलोनी निवासी बीके श्रीवास्तव ने बताया कि बगल में होने के बाद भी बातचीत नहीं हो पाती थी। पहले सुबह शाम टहलते थे। लेकिन इस समय बीमार होने से बाहर नहीं निकलते थे। इससे उनके बारे में बहुत ज्यादा जानकारी नहीं हो पाती थी। उनके बेटों से कभी-कभी बातचीत हो जाती थी। पत्नी की मौत के बाद बेटा ही उनकी देखभाल करता था। 

अश्वनी के कमरे से मिली माइग्रेन की दवा

पुलिस को सेवानिवृत्त रेलकर्मी के कमरे से ढेर सारी दवाएं मिली हैं। जबकि अश्वनी के कमरे से माइग्रेन की दवाएं और शराब की बोतलें मिलीं। शनिवार को अश्वनी एटीएम से रुपये निकाले थे। शव के पास पांच-पांच सौ की तीन चार नोट भी मिले।

 


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कमरे में मिले बाप-बेटे के शव
– फोटो : अमर उजाला


विसरा प्रिजर्व किया गया 

रविवार देर शाम बीआरडी मेडिकल कॉलेज में पिता-पुत्र के शव का पोस्टमार्टम डॉक्टरों की टीम ने किया। मौत का कारण स्पष्ट नहीं होने पर दोनों का विसरा प्रिजर्व किया गया है। विसरा फॉरेंसिक लैब भेजा जाएगा। रेलकर्मी ने अपने घर पर सीसीटीवी कैमरा लगवाया था। पुलिस ने सीसीटीवी कैमरा फुटेज खंगाली तो एक जगह अश्वनी दर्द से तड़पता देखा गया है। कोई बाहरी संदिग्ध घर के अंदर आते जाते नहीं दिखा है। पुलिस का मानना है कि पिता की पहले मौत हो गई है। इसके बाद अश्वनी ने माइग्रेन की दवाएं खाई थीं।


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अश्वनी का फाइल फोटो
– फोटो : अमर उजाला


बालकनी से देखते रहे बड़े बेटे के पत्नी-बच्चे

शाहपुर के पादरी बाजार बैंक कॉलोनी स्थित घर के निचले हिस्से में अश्वनी और उसके बीमार पिता रहते थे। बड़े भाई अरविंद प्रथम तल पर दो बच्चों और पत्नी के साथ रहते हैं। उनकी शाहपुर में दवा की दुकान है। पिता-पुत्र का कमरे में शव मिलने पर बड़े बेटे अरविंद शर्मा का परिवार छत की बालकनी से नीचे की तरफ देखते रहा। अरविंद के अलावा कोई भी नीचे नहीं उतरा। अरविंद शर्मा ने पिता और भाई के बारे में बहुत कुछ बताने को तैयार नहीं हुए। इसके कारण मौत की रहस्य बरकरार हैं। अरविंद ने शाहपुर पुलिस को प्रार्थना पत्र दिया है। जांच करने की मांग की है।




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