जसवंतनगर। बलरई थाना क्षेत्र में गुरुवार सुबह बंबा किनारे स्थित खेत में एक व्यक्ति का शव बरामद होने से सनसनी फैल गई। सूचना पर पहुंची जसवंतनगर और बलरई पुलिस थाने के विवाद में उलझी रहीं। करीब एक घंटे बाद बलरई पुलिस ने अपने थाने में शव मिलने की बाद मानी। इसके बाद शव की शिनाख्त कराने का प्रयास किया गया। पुलिस अब पड़ोसी जिले फिरोजाबाद में हत्या करके फेंके जाने और हादसे दोनों पहलुओं पर जांच पड़ताल कर रही है।

गुरुवार सुबह करीब नौ बजे के आसपास एक व्यक्ति का शव सड़क किनारे से गुजर रहे ग्रामीणों ने देखा। ग्रामीणों की सूचना पर पीहरपुर गांव के प्रधान राय सिंह ने बलरई पुलिस को सूचना दी। जानकारी पर बलरई पुलिस मौके पर पहुंच तो गई, लेकिन उसने शव की शिनाख्त कराने और अन्य जांच करने से पहले अपने क्षेत्र की सीमा नापनी शुरू कर दी। कहा कि यह हमारी सीमा में नहीं। सूचना पर सीओ अतुल प्रधान व जसवंतनगर थाने की पुलिस भी मौके पर पहुंच गई।

जसवंतनगर व बलरई पुलिस लगभग एक घंटे तक अपने-अपने क्षेत्र में घटना न होने की बात कहकर टाला मटोली करते रहे। सीओ सख्त लहजे में कहने के बाद बलरई पुलिस ने घटनास्थल अपने क्षेत्र का माना और कार्रवाई शुरू की। शव की शिनाख्त आसपास के गांवों में कराई गई, लेकिन कोई जानकारी नहीं मिल सकी। फोरेंसिक टीम ने भी साक्ष्य जुटाए हैं। शव के नाक से खून निकल रहा था। पूरे शरीर पर चोट का निशान नजर नहीं आया। मृतक सफेद पेंट व हरे रंग की शर्ट पहने हुए था।

सीओ ने बताया कि सीमा विवाद की जानकारी पर थानाध्यक्षों पर नाराजगी जताई गई है। जांच की जा रही है। यह भी देखा जा रहा है कि कहीं पड़ोस के जिले फिरोजाबाद में तो कोई घटना को अंजाम देकर शव यहां नहीं फेंका गया है। पड़ोसी जिले की पुलिस से जानकारी जुटाई जा रही है। शव को पोस्टमार्टम हाउस पर रखवाया गया है।

बलरई थाने से सटा फिरोजाबाद जिले की सीमा है। इस बार का घटनास्थल भले ही सीमा से लगभग 20 किलोमीटर दूर हो, लेकिन पुलिस इस बिंदु पर जांच कर रही है कि कहीं किसी वारदात को अंजाम पड़ोसी जिले में देकर यहां शव तो नहीं फेंक दिया गया। बीते छह माह में छह शव गंग नहर में बहकर आए हैं। 15 मार्च को जगसोरा पुल पर एक महिला का शव, 14 जून को खदिया पुल पर एक महिला का शव, 15 जुलाई को एक युवक का शव, 28 जुलाई को बलरई नहर पर एक युवक का शव, पांच अगस्त को बलरई नहर की भवर में एक किशोरी व युवक के शव मिले थे। इनमें अधिकांश शव फिरोजाबाद के ही थे। कुछ की हत्या की गई थी तो कुछ ने आत्महत्या की थी।



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