इटावा। पीएचसी में हर रविवार को आयोजित होने वाले आरोग्य मेला ग्रामीण क्षेत्रों के लोगों की उम्मीदों पर खरे नहीं उतर रहे हैं। आयुष्मान भव: के तहत इस रविवार को पहली बार सीएचसी (सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों) पर आरोग्य मेला का आयोजन हुआ। लेकिन वह भी सफल नहीं रहा। जबकि सीएचसी के आरोग्य मेला में सैफई मेडिकल कॉलेज के स्पेशलिस्ट चिकित्सकों की ड्यूटी लगाने का दावा किया गया। लोगों का आरोप है कि जूनियर डॉक्टरों से काम चलाया गया। रविवार को 34 पीएचसी व आठ सीएचसी पर आयोजित आरोग्य मेला में 1135 मरीज आए।
जसवंतनगर प्रतिनिधि के अनुसार, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर लगे आरोग्य मेले में सिर्फ खानापूरी ही दिखाई दी। सैफई से आए जूनियर डॉक्टर खाली बैठे रहे। मरीजों का टोटा दिखाई दिया। सीएचसी पर सैफई पीजीआई से डॉॅ. कृतिका राजन वर्मा, डॉ.सुनीता कुमारी, डॉ. तामरे कन्नन के अलावा सीएचसी के डॉ.विकास अग्निहोत्री, डॉ.अशोक कुमार, डेंटल सर्जन सिंह मौजूद थे। लेकिन यहां कोई भी विशेषज्ञ डॉक्टर नहीं आए थे। जो लोग बाहर बैठे थे, उन्हें बुलाकर औपचारिकता पूरी की गई। यही वजह रही कि मरीज नदारत दिखाई दिए। कुल मिलाकर आरोग्य मेला बेअसर साबित हुआ।
भरथना प्रतिनिधि के अनुसार, सीएचसी पर रविवार को आयोजित पहले आरोग्य मेला में मरीजो की संख्या कम रही। दोपहर साढ़े 12 बजे तक 38 मरीज ही आए। आयुष्मान भवः के तहत आयोजित आरोग्य मेला में सैफई मेडिकल कॉलेज के बाल रोग विशेषज्ञ डॉ. विनय वर्मा, एनेस्थीसिया डॉ. राहुल गुप्ता के अलावा स्थानीय स्तर पर डॉ. राजेश वर्मा ने सेवाएं प्रदान कीं। इस दौरान महिला काउंसलर शालिनी यादव आदि स्वास्थ्यकर्मी मौजूद रहे। मोहल्ला मंडी समिति रोड़ से आए बुजुर्ग मनोहर सिंह ने बताया कि कुछ दिनों से सिर में चक्कर आ रहा है। सीएचसी पर आरोग्य मेला की जानकारी होने पर चिकित्सक को दिखाने व दवा लेने आए हैं। गांव नगला अमर निवासी अवधेश ने बताया कि आरोग्य मेला में अस्पताल से सभी दवाएं मिल गईं हैं। जबकि पहले चिकित्सक ने जो दवाएं बताईं थीं, वह बाजार से खरीदनी पड़ीं।
वर्जन
रविवार होने की वजह से मरीजों की संख्या अन्य दिनों की अपेक्षा कम रही। विभिन्न रोगों के आने वाले मरीजो को जरूरी दवाएं दी जा रही है। जरुरतमंद मरीज की जांच की भी सुविधा की गई है। -डॉ. अमित दीक्षित, अधीक्षक भरथना।