इटावा। विशेष न्यायाधीश पॉक्सो एक्ट कल्पना द्वितीय ने एक अनुसूचित जाति की किशोरी छेड़छाड़ के पांच साल पुराने मामले की सुनवाई करते हुए तीन साल की सजा सुनाई है। 15 हजार के अर्थदंड से दंडित किया। जुर्माना अदा न करने पर उसे दस दिन का अतिरिक्त सजा काटनी पड़ेगी।
विशेष लोक अभियोजक दशरथ सिंह चौहान ने बताया कि बकेवर थाना क्षेत्र के एक गांव की रहने वाली अनुसूचित जाति की महिला ने थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई। आरोप लगाया था कि उसने गांव के ही धीरज तिवारी उर्फ छोटू पंडित के खेत से आलू की खुदाई का ठेका लिया था। 13 मार्च 2018 की सुबह करीब साढे सात बजे उसकी नाबालिग पुत्री खेत पर काम करने के लिए गई तभी उसे अकेला पाकर धीरज ने उसके साथ छेड़छाड़ की।
किशोरी के चीखने पर आसपास काम कर रहे लोग मौके पर पहुंचे तो उन लोगों के आता देख धीरज भाग निकला। तहरीर के आधार पर पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया। छानबीन के बाद पुलिस ने छेड़छाड़ पॉक्सो एक्ट के अलावा एससीएसटी एक्ट में उसके खिलाफ आरोप पत्र कोर्ट में पेश कर दिए। सुनवाई विशेष न्यायाधीश पॉक्सो एक्ट कोर्ट में हुई। विशेष लोक अभियोजक की ओर से पेश किए साक्ष्यों व गवाहों के आधार पर कोर्ट ने धीरज को दोषी पाया और उसे तीन साल की सजा सुनाई। 15 हजार रुपये का जुर्माना लगाया।