इटावा। प्रेम विवाह करने के बाद प्रमोद पत्नी रोशनी को लेकर सारे विवादों से बचने के लिए पुणे चला गया था। दो साल दोनों वहीं रहे थे। इस बीच ही रोशनी गर्भवती हो गई थी। शहर में एक दोस्त ने उसे प्रसव जिला अस्पताल में कराने की सलाह दी थी। इस पर वह पत्नी को लेकर कुछ दिन पहले पुणे से आ गया था। यहां अपने दोस्त के परिवार के साथ ही रह रहा था।

शुक्रवार को प्रमोद जिला अस्पताल में डिलीवरी के लिए लाया था। बेटे को जन्म देने के बाद रोशनी ने इसकी जानकारी बलरई थाना क्षेत्र के अंडावली में रह रही बहन आरती को दे दी। इस पर बहन शनिवार को जिला अस्पताल पहुंची और घर वालों को वीडियो कॉल कर रोशनी की बात कराई और उसके बेटे को भी दिखाया। रोशनी ने बताया कि उसे लगा दो साल से नाराज परिवार के लोग उसके बच्चे का चेहरा देखेंगे तो शायद उनकी नाराजगी दूर हो जाएगी। लेकिन उसे यह अंदाजा नहीं था कि उसकी बहन ही उसका सुहाग उजाड़ देगी। शनिवार रात प्रमोद की हत्या के बाद रोशनी सभी से हाथ जोड़कर अपने पति से बात करने की गुहार लगाती रही। जिला अस्पताल में मौजूद लोग उसे दिलाशा देते रहे कि उसका पति सही सलामत है।

बेटे के जन्म के 24 घंटे बाद पिता को मार डाला

पुलिस की पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि रोशनी व प्रमोद में प्रेम संबंध थे। वह दोनों शादी करना चाहते थे, जबकि रोशनी के घर वाले इसका विरोध कर रहे थे। दोनों ने बिना घर के मर्जी के ही शादी कर ली थी। इससे रोशनी के घर वाले नाराज चल रहे थे। दो साल बाद प्रमोद अपनी पत्नी के साथ इटावा आया। यहां जिला अस्पताल में उसकी पत्नी ने शुक्रवार रात बेटे को जन्म दिया। दोनों लगा था कि अब बेटा आ जाने से शायद सबकी नाराजगी दूर हो जाएगी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ और नफरत बेटे के जन्म के 24 घंटे के अंदर पिता को मौत के घाट उतार दिया।



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