बहुआ ब्लॉक के देवगांव के पास सोमवार सुबह निचली गंगा नहर की मुत्तौर माइनर करीब तीन मीटर तक कट गई। इससे नहर का पानी गांव में घुस गया और बाढ़ जैसे हालात बन गए। गांव में ढाई से तीन फीट तक पानी भर गया। आसपास के खेतों में खड़ी लगभग 500 बीघे फसल जलमग्न हो गई। माइनर कटने का कारण समय से सिल्ट की सफाई न होना और तालाब में पानी भरने के लिए माइनर में खंती काटना बताया जा रहा है।
करीब 11 किलोमीटर लंबी मुत्तौर माइनर कई गांवों से होकर गुजरती है। सोमवार सुबह देवगांव के पास इसके कटते ही तेज बहाव के साथ पानी गांव की ओर फैल गया। महज कुछ घंटों में घरों में पानी घुस गया। इससे ग्रामीणों में अफरा-तफरी मच गई। ग्रामीणों का आरोप है कि माइनर की सफाई केवल औपचारिकता तक सीमित रही। पानी छोड़े जाने पर दबाव बढ़ा और पहले से चूहों द्वारा बने छेदों से रिसाव शुरू हुआ जो बाद में बड़े कटाव में बदल गया। इसके अलावा माइनर के किनारे बने तालाब में पानी भरने के लिए खंती काटे जाने से स्थिति और बिगड़ गई।
सूचना मिलने पर सिंचाई विभाग को अवगत कराया गया। शाम तक माइनर बंद कराकर पानी का बहाव रोक दिया गया लेकिन तब तक गेहूं समेत अन्य फसलें पूरी तरह डूब चुकी थीं। किसानों ने भारी नुकसान होने की बात कही है।
अधिशासी अभियंता निचली गंगा नहर सुंदर लाल वर्मा ने बताया कि माइनर को बंद कर दिया गया है और स्थिति नियंत्रण में है। नुकसान का आकलन कराया जा रहा है। ग्रामीणों ने जिम्मेदारों पर कार्रवाई और प्रभावित किसानों को मुआवजा देने की मांग की है।
