Five clerks were sentenced to jail and fined for embezzling scholarship.

प्रतीकात्मक तस्वीर।
– फोटो : प्रतीकात्मक

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सीबीआई की विशेष अदालत ने धोखाधड़ी कर छात्रवृत्ति हड़पने वाले माध्यमिक शिक्षा विभाग के पांच लिपिकों को तीन-तीन साल की कैद और जुर्माने की सजा सुनाई है। ये सजा कानपुर नगर के जिला विद्यालय निरीक्षक कार्यालय के तत्कालीन वरिष्ठ लिपिक कृष्ण कुमार समेत पांच लोगों को दो अलग-अलग मामलों में सुनाई गई है।

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पहले मामले में तत्कालीन वरिष्ठ लिपिक कृष्ण कुमार और मनोज कुमार द्विवेदी को तीन-तीन साल की कैद और 60 हजार रुपये जुर्माना लगाया है। वहीं दूसरे मामले में मनोज कुमार द्विवेदी, विनोद कुमार मिश्रा, सुलेमान और प्रेम सिंह उर्फ पूती को तीन-तीन साल की कैद के साथ 1.20 लाख रुपये जुर्माना लगाया है।

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दोनों ही मामले हाईकोर्ट के आदेश पर केस दर्ज किए गए थे। सीबीआई ने 18 फरवरी 2002 को पहला मामला दर्ज किया था जिसमें बताया गया कि कानपुर के जिला समाज कल्याण अधिकारी ने 1997 से 1999 में छात्रवृत्ति के लिए नौ लाख 38264 रुपये जारी किए थे।

आरोप है की कानपुर के जिला समाज कल्याण विभाग और जिला विद्यालय निरीक्षक कार्यालय के अधिकारियों और कर्मचारियों ने लोगों के साथ मिलकर धोखाधड़ी करके जाली खाते खोले और धन को हड़प लिया।

दूसरा मामला में वर्ष 1999-2000 में आरोपी मनोज कुमार द्विवेदी, सुलेमान, विनोद कुमार मिश्र और प्रेम चंद्र ने अन्य अधिकारियों और कर्मचारियों से मिलीभगत करके फर्जी कॉलेज के नाम पर छात्रवृत्ति के छह लाख 44000 रुपये हड़प लिए।



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