
पिंक टाॅयलेट।
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अमर उजाला ब्यूरो
झांसी। स्मार्ट सिटी मिशन के जरिये महानगर में बने पिंक टॉयलेट का हाल बेहाल है। चौबीस घंटे में यह पिंक टॉयलेट महज बारह घंटे के लिए ही खोले जाते हैं। उसमें भी कहीं सफाई नहीं, तो कहीं पानी और बिजली तक नहीं।
सीपरी बाजार के ओवर ब्रिज के नीचे बने पिंक टॉयलेट में पिछले दो साल से बिजली गोल है। बिजली न होने से यहां पानी भी नहीं आता। केयर टेकर को करीब आधा किलोमीटर दूर बाल्टी से इस पिंक टॉयलेट के लिए पानी लाना पड़ता है। भीड़-भाड़ वाली जगह होने की वजह से रोजाना इसमें सैकड़ों महिलाएं आती हैं लेकिन, पानी न होने से इस्तेमाल करने के लिए आने वाली महिलाओं को मायूस होकर लौटना पड़ता है।
हैरानी की बात यह कि महिलाओं के लिए खास तौर से बने होने के बावजूद यहां बिजली एवं पानी का इंतजाम कराने को लेकर निगम अफसर बेखबर हैं। बिजली न होने से टॉयलेट के भीतर अंधेरा रहता है। ऐसे में यहां किसी समाजिक घटना से भी इन्कार नहीं किया जा सकता है। बता दें, स्मार्ट सिटी मिशन के जरिये महानगर में सात अलग-अलग स्थानों पर 2.70 करोड़ की लागत से यह पिंक टॉयलेट बनवाए गए थे। इनका संचालन सुलभ इंटरनेशनल के माध्यम से कराया जा रहा है लेकिन, इनकी कोई निगरानी नहीं रहती। वहीं, नगर आयुक्त सत्य प्रकाश का कहना है कि उन्हें अभी इसके बारे में पता नहीं है। इसकी छानबीन कराई जाएगी।