अवैध धर्मांतरण गिरोह ने अपना नेटवर्क कई राज्यों में फैला रखा है। दिल्ली के मास्टरमाइंड अब्दुल रहमान ने सात राज्यों की दर्जनों युवतियों को जाल में फंसाकर धर्मांतरण कराया। इनमें से कुछ युवतियां गिरोह के लिए काम कर रही हैं। पुलिस ने धर्म परिवर्तन करने वाली कुछ युवतियों और उनके परिजनों से संपर्क किया है। राज्यों की पुलिस से भी जानकारी जुटाई जा रही है। वहीं बुधवार को गिरफ्तार तीनों आरोपियों को जेल भेज दिया गया।
सदर क्षेत्र की सगी बहनों के अपहरण के मामले में पुलिस ने कोलकाता सहित अन्य राज्य के 10 लोगों को गिरफ्तार किया था। गोवा की रहने वाली एसबी कृष्णा उर्फ आयशा से पूछताछ के बाद दिल्ली के ओल्ड मुस्तफाबाद निवासी अब्दुल रहमान उर्फ महेंद्र पाल का नाम सामने आया था। पुलिस ने दबिश देकर उसको गिरफ्तार किया था। बाद में उसके बेटे अब्दुल्ला, अब्दुल रहीम और चेले जुनैद कुरैशी को पकड़ा।
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पुलिस आयुक्त दीपक कुमार
– फोटो : संवाद न्यूज एजेंसी
उनसे पूछताछ की गई। पुलिस आयुक्त दीपक कुमार ने बताया कि आरोपियों से पूछताछ में पता चला कि अब्दुल रहमान ने दर्जनों युवतियों का धर्मांतरण कराया है। युवतियां महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, राजस्थान, उत्तराखंड, झारखंड, दिल्ली, उत्तर प्रदेश के बरेली, अलीगढ़, रायबरेली और गाजियाबाद की रहने वाली हैं। इनमें से कुछ युवतियों और उनके परिजनों से संपर्क कर लिया गया है। अन्य से भी संपर्क के प्रयास किए जा रहे हैं।
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धर्मांतरण
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कलमा भी पढ़वाता था रहमान
पुलिस की पूछताछ में सामने आया कि अब्दुल रहमान युवतियों का ब्रेनवाॅश करता था। गिरोह के सदस्य अलग-अलग तरीकों से युवतियों से संपर्क करते थे। उन्हें दिल्ली बुलाया जाता था। हाॅस्टल में रखा जाता था। अब्दुल रहमान सभी को अपने घर में बुलाकर इस्लाम की शिक्षा दिया करता था। कलमा पढ़वाया करता था। उन्हें बाहर नहीं निकलने दिया जाता था। विशेष धर्म की युवतियां अन्य को अपने धर्म के बारे में बताती थीं। कहती थी जब कयामत आएगी, तब जन्नत नसीब होगी। इसके बाद निकाह करा दिया जाता था।
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आगरा धर्मांतरण केस।
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एक बार जरूर बुलाया जाता था दिल्ली
उत्तराखंड की दो युवतियों का धर्मांतरण कराया गया। अब वह गिरोह की तरह काम कर रही हैं। वह रिवर्ट ग्रुप में शामिल हो गईं। वह काॅलेजों में पढ़ने वाली युवतियों से बात करती हैं। इस्लाम धर्म के बारे में बताती हैं, जो उनके साथ आने को तैयार होती हैं, उनसे गिरोह के अन्य सदस्य संपर्क करते हैं। इसके बाद अपने पास बुला लेते हैं। सभी को एक बार दिल्ली जरूर बुलाया जाता था। इसके बाद अलग-अलग जगह पर भेजा जाता था। उनका निकाह करा दिया जाता था।
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आगरा धर्मांतरण केस।
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माैलाना कलीम सिद्दीकी के लिए कर रहा था काम
अब्दुल रहमान जेल में आजीवन कारावास की सजा काट रहे माैलाना कलीम सिद्दीकी के लिए काम कर रहा था। उसके जेल जाने के बाद पूरे गिरोह की कमान संभाल ली। उनके निशाने पर भोलीभाली लड़कियां रहती थीं। इनमें उच्च शिक्षित युवतियों को भी जाल में फंसाया जाता था। एक बार किसी युवती के गिरोह में शामिल होने के बाद उनका वापस जाना आसान नहीं होता है। अब्दुल रहमान के मोबाइल में कई युवतियों के नंबर और जानकारी है। इनके बारे में पुलिस टीम पड़ताल में लगी है। धर्मांतरण के लिए अलग-अलग जगह से फंडिंग की जाती थी। उसके बेटे जूतों का व्यापार दिखाने के लिए करते थे। वह अपने पिता का साथ देते थे। घर में आने वाली युवतियों का धर्म परिवर्तन कराते थे।