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संवाद न्यूज एजेंसी
झांसी। ओलंपिक खेलों में हिस्सा लेने का सपना हर एक खिलाड़ी हो होता है। इसे पूरा करने के लिए खिलाड़ी कड़ा परिश्रम और अभ्यास करता है। पूरे विश्व में अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक दिवस की शुरुआत 23 जून 1948 को हुई थी। ओलंपिक खेलों का महाकुंभ भी कहा जाता है। इसमें 200 से अधिक देश और 400 से अधिक खेल शामिल होते हैं। अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक दिवस को लेकर खिलाड़ियों और खेल प्रेमियों में खास उत्साह नजर आया।
ओलंपिंक में भारत को पहला स्वर्ण पदक झांसी की धरती ने दिलाया था। हॉकी के जादूगर मेजर ध्यानचंद ने तीन स्वर्ण पदक जीते थे। मेजर ध्यानचंद के छोटे भाई रूप सिंह ने दो स्वर्ण पद जीते। मेजर ध्यानचंद की ओलंपिक पदक जीतने के परंपरा को आगे बढ़ाते हुए उनके बेटे अशोक ध्यानचंद ने ओलंपिक में भारत को कांस्य पदक दिलाया।