उरई। मौसम में बदलाब के साथ डेंगू के केस भी बढ़ना शुरू हो गए हैं। जिले में अलग-अलग स्थानों पर तीन डेंगू के मामले सामने आए है। सूचना मिलने पर स्वास्थ्य विभाग की टीम ने मौके पर पहुंचकर निरोधात्मक कार्रवाई की है। अब तक डेंगू के 15 केस सामने आ चुके हैं।

बारिश के मौसम में गंदगी के कारण डेंगू के मरीज बढ़ने लगे हैं। जिले में उरई के मोहल्ला राजेंद्रनगर निवासी अंश द्विवेदी (15) पुत्र धर्मेंद्र कुमार द्विवेदी, कालपी के मोहल्ला राम चबूतरा निवासी नदीम (15), उरई के मोहल्ला नया पटेलनगर निवासी नौशीन (22) को कुछ दिन से बुखार आ रहा था। मेडिकल कॉलेज में डेंगू की जांच में तीनों में डेंगू होने की पुष्टि हुई। डेंगू की सूचना मिलने पर स्वास्थ्य विभाग की टीम ने मलेरिया विभाग के सहयोग से डेंगू पीड़ितों के घरों में जाकर निरोधात्मक कार्रवाई की।

एसीएमओ व संचारी रोग विभाग के नोडल अधिकारी डॉ. वीरेंद्र सिंह ने बताया कि जहां भी डेंगू के केस सामने आ रहे हैं। वहां पर तत्काल स्वास्थ्य विभाग की टीम भेजकर निरोधात्मक कार्रवाई कराई जा रही है। अब तक डेंगू के 15 केस आ चुके हैं। डेंगू पीड़ितों और आसपास के घरों के लोगों के सैंपल लेकर उनकी भी जांच कराई जा रही है। लोगों से साफ सफाई रखने और भरे हुए पानी को ज्यादा दिनों तक न रोकने के लिए कहा जा रहा है।

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नियामतपुर में 24 लोगों के रक्त की जांच

स्वास्थ्य विभाग की टीम ने की 152 घरों की पड़ताल

संवाद न्यूज एजेंसी

उरई। सिरसाकलार क्षेत्र के नियामतपुर गांव में बुखार पीड़ितों की जांच में स्वास्थ्य विभाग की टीम जुटी हुई है। टीम ने बुधवार को 152 घरों की पड़ताल की। इस दौरान 24 लोगों के खून के नमूने जांच के लिए भेजे हैं।

गांव में अलग अलग स्थानों पर एक सप्ताह के अंदर चार लोगों की मौत होने की सूचना पर स्वास्थ्य विभाग की टीम ने मौके पर जाकर जांच पड़ताल की थी। एसीएमओ डॉ. वीरेंद्र सिंह ने पीएचसी बाबई के चिकित्सा अधिकारी को नियामतपुर गांव में नजर रखने के निर्देश दिए हैं। एसीएमओ ने बताया कि गांव की स्थिति ठीक है। गांववालों को सफाई के लिए कहा गया है। मौत का कारण सिर्फ बुखार नहीं है। अन्य बीमारियां भी है।



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