ठंड से कांपते हुए बच्चे शुक्रवार सुबह करारी के पूर्व माध्यमिक विद्यालय में अंग्रेजी की परीक्षा देने पहुंचे तो वहां ताला लटका मिला। जब नौ बजे तक कक्षाओं के ताले नहीं खुले तो बच्चे इधर-उधर इंतजार करने लगे। कोई नहीं आया तो 10 बजे से बच्चे घर लौटने शुरू हो गए। वीडियो वायरल होने पर बीएसए ने बताया कि स्कूल में दो शिक्षिकाएं तैनात हैं। एक मेडिकल छुट्टी पर है तो दूसरी बीएलओ के रूप में एसआईआर ड्यूटी पर है। अब शुक्रवार की छूटी परीक्षा आगे कराई जाएगी।

बेसिक शिक्षा विभाग के विद्यालयों में परीक्षाएं चल रही हैं। शुक्रवार को करारी के पूर्व माध्यमिक विद्यालय में उस समय अजीब-ओ-गरीब स्थिति हो गई जब परीक्षा देने पहुंचे बच्चों ने देखा कि स्कूल का ताला ही नहीं खुला है। नौ बजे तक ताले नहीं खुले तो बच्चे परेशान हो गए। 10 बजे भी ताला नहीं खुला तो बच्चे घर लौटने लगे। हैरानी यह कि वहां कोई भी व्यक्ति जवाब देने वाला नहीं था।

यह बताई वजह

जब परेशान बच्चों का वीडियो वायरल हुआ तो अधिकारियों ने शिक्षिकाओं के स्कूल न आने के बारे में पता किया। बीएसए विपुल शिव सागर ने बताया कि शिक्षिका नीलम नरेला मेडिकल अवकाश पर हैं, जबकि दूसरी शिक्षिका वीनू चतुर्वेदी बीएलओ ड्यूटी पर हैं। इस वजह से स्कूल नहीं खुला। अब छूटी परीक्षा आगे कराई जाएगी।

सात स्कूल में एक भी शिक्षक नहीं तो 27 में सिर्फ एक

नगर क्षेत्र के 34 विद्यालय ऐसे हैं, जहां शिक्षकों का काफी अभाव है। आंकड़ों के अनुसार प्राथमिक विद्यालय बूढ़ा, बिजौली ब्लाॅक, पिछोर, ऋषिकुंज, सीपी मिशन, दतिया गेट व मुकरयाना में एक भी शिक्षक नहीं है। वहीं, भट्टागांव, खिरक पट्टी, प्रेमनगर, ग्रासलैंड, मैरी, सिमरधा, गढ़िया गांव, राजगढ़, पीएसी राजगढ़, बिजौली, गुदरी, बड़ागांव गेट, यूनिट कन्या व बालक, नैनागढ़, सिमराहा, मेडिकल, करगुवां, सूती मिल नगर क्षेत्र, छनियापुरा, डडियापुरा, पुलिस लाइन, अलीगोल, प्रेमगंज, सिमराहा, सिगर्रा, व भगवंतपुरा के स्कूल में सिर्फ एक-एक शिक्षक की तैनाती है। बीएसए का कहना है कि स्कूलों में शिक्षकों की कमी है, यह सबको पता है। उन्होंने बताया कि देहात के स्कूलों में तो शिक्षक हैं मगर दिक्कत शहरी क्षेत्र के स्कूलों में ज्यादा है।

स्कूल में लटका ताला, बाहर खड़े बच्चों का वीडियो वायरल…



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