झांसी। पुलिस पर उत्पीड़न का आरोप लगाते हुए रविवार की दोपहर इलाइट चौराहे पर एक परिवार की महिलाएं धरने पर बैठ गईं। एक महिला का आरोप था कि उसके पुत्र के साथ मारपीट की घटना हुई है। बावजूद, पुलिस विपक्षियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज नहीं कर रही है। जबकि, पुलिस का कहना रहा कि महिला के पुत्र पर पहले से ही छेड़खानी का मुकदमा दर्ज है। विपक्षियों पर दबाव बनाने के लिए मारपीट का झूठा मुकदमा दर्ज कराने की कोशिश की जा रही है।
परिवार की अन्य महिलाओं के साथ धरने पर बैठीं प्रेमनगर के अंबेडकर नगर निवासी किरण अहिरवार का आरोप है कि चार दिन पहले उनका पुत्र कॉलेज से घर लौट रहा था। रास्ते में उसके साथ कुछ लोगों ने मारपीट कर दी थी। इसके बाद विपक्षियों ने पुत्र के खिलाफ छेड़खानी का मुकदमा दर्ज करा दिया। जबकि, उसके पुत्र को मारपीट में गंभीर चोटें आईं हैं। लेकिन, पुलिस मुकदमा दर्ज नहीं कर रही है। इस दौरान महिलाओं ने एक सिपाही का नाम और पुलिस मुर्दाबाद लिखीं तख्तियां लहराईं। महिलाएं काफी देर धरने पर बैठी रहीं। बाद में समझा-बुझाकर उन्हें वहां से उठाया गया।
वहीं, प्रेमनगर थाने के प्रभारी निरीक्षक आनंद पाल सिंह ने बताया कि महिला का पुत्र विशाल एक युवती से छेड़खानी करता था। इसकी शिकायत थाने में की गई थी। बाद में दोनों पक्षों में समझौता हो गया था। 19 अप्रैल को एक बार फिर विशाल ने लड़की के साथ छेड़खानी की। इसका मुकदमा दर्ज किया गया है। उन्होंने बताया कि विशाल बीते रोज घायलावस्था में थाने आया था। उसने बताया था कि उसके साथ युुवती के परिजनों ने नगरा हाट के मैदान में मारपीट की। लेकिन, घटनास्थल के सीसीटीवी कैमरे खंगालने पर विशाल अकेला खड़ा नजर आ है। उसके साथ मारपीट की कोई घटना नहीं हुई है। विपक्षियों पर दबाव बनाने के लिए मारपीट का झूठा मुकदमा दर्ज कराने की कोशिश की जा रही है।

 
                    