Khatauli (मुज़फ्फरनगर)।वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक के निर्देश पर चलाए जा रहे अभियान के अंतर्गत खतौली थाना पुलिस को बड़ी सफलता हाथ लगी है। बीती रात खतौली क्षेत्र के नहर पटरी लोहे के पुल के पास से एक शातिर गांजा तस्कर को रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया। आरोपी के पास से 01 किलो 970 ग्राम गांजा और ₹6150 नकद बरामद किए गए हैं।

गिरफ्तार आरोपी की पहचान और ठिकाना

गिरफ्तार युवक की पहचान अंशुल उर्फ डोना, पुत्र अनिल, निवासी पीट बाजार, मोहल्ला खाकरोवान, थाना बुढाना, मुजफ्फरनगर के रूप में हुई है। उम्र लगभग 26 वर्ष। पुलिस के अनुसार, आरोपी लंबे समय से गांजे की तस्करी में संलिप्त था और उसके खिलाफ पूर्व में भी आपराधिक गतिविधियों के कई मामले दर्ज हैं।

गांजा तस्करी का नेटवर्क: खतौली बना था ट्रांजिट हब

पुलिस सूत्रों के अनुसार, खतौली क्षेत्र हाल के दिनों में गांजे और अन्य मादक पदार्थों की तस्करी का महत्वपूर्ण ट्रांजिट पॉइंट बनता जा रहा है। दिल्ली, हरियाणा और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जिलों में नशीले पदार्थों की आपूर्ति के लिए यह इलाका संगठित तस्कर गिरोहों के लिए मुफीद स्थान बन चुका है।

गिरफ्तारी की कार्रवाई कैसे हुई?

वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक के आदेश के तहत चलाए जा रहे वांछित अपराधियों और तस्करों की धरपकड़ अभियान के तहत यह कार्रवाई की गई। पुलिस अधीक्षक नगर के निर्देशन एवं क्षेत्राधिकारी खतौली और प्रभारी निरीक्षक ब्रजेश कुमार के नेतृत्व में गठित टीम ने रात्रि गश्त के दौरान संदिग्ध व्यक्ति की तलाशी ली, जिसमें भारी मात्रा में गांजा और नकदी बरामद हुई।

पुलिस टीम की सराहनीय कार्रवाई

इस विशेष अभियान में शामिल पुलिस टीम में उप निरीक्षक विक्रांत कुमार, हेड कांस्टेबल विनीत कुमार, कांस्टेबल प्रवीन नागर और कांस्टेबल संदीप नागर की भूमिका अत्यंत सराहनीय रही। इन सभी जवानों ने सजगता, सतर्कता और साहस का परिचय देते हुए तस्कर को धर दबोचा।

गांजा कहां से आया, कहां जा रहा था?

प्रारंभिक पूछताछ में आरोपी ने बताया कि वह गांजा उत्तराखंड के सीमावर्ती इलाकों से लाकर खतौली और आसपास के इलाकों में सप्लाई करता था। बरामद गांजा भी एक विशेष ऑर्डर के तहत भेजा जाना था। पुलिस अब यह पता लगाने में जुटी है कि इस नेटवर्क में और कौन-कौन लोग शामिल हैं।

खतौली में बढ़ती नशा प्रवृत्ति: युवा हो रहे शिकार

गौरतलब है कि खतौली व आस-पास के क्षेत्रों में नशे की प्रवृत्ति दिनों-दिन बढ़ रही है। युवा वर्ग सबसे ज्यादा इसकी चपेट में आ रहा है। स्कूल-कॉलेज जाने वाले छात्र, बेरोजगार युवा और यहां तक कि किशोर भी अब गांजे जैसे घातक नशे के आदी होते जा रहे हैं।

संगठित अपराध और पुलिस की चुनौती

पुलिस प्रशासन के सामने सबसे बड़ी चुनौती अब इन संगठित तस्करी गिरोहों की जड़ तक पहुंचने और पूरे नेटवर्क को ध्वस्त करने की है। खतौली पुलिस की यह कार्रवाई केवल एक कड़ी है, आगे भी ऐसे ऑपरेशन चलाए जाने की संभावना है।

स्थानीय लोगों की प्रतिक्रियाएं

स्थानीय लोगों ने पुलिस की कार्रवाई की सराहना की है। उनका कहना है कि जिस तरह से नशे की प्रवृत्ति इलाके में बढ़ रही थी, उस पर लगाम कसना बेहद जरूरी था। “इस तरह की और कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए, जिससे अपराधियों में भय उत्पन्न हो,” एक स्थानीय निवासी ने बताया।

सख्त कानूनी कार्रवाई होगी

पुलिस अधिकारियों ने स्पष्ट किया है कि आरोपी के खिलाफ एनडीपीएस एक्ट (NDPS Act) के तहत कठोर धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है और उसे जल्द ही न्यायालय में पेश किया जाएगा। आगे की पूछताछ के आधार पर अन्य तस्करों की पहचान और गिरफ्तारी की दिशा में भी कार्यवाही की जा रही है।

गिरफ्तारी के बाद की रणनीति

पुलिस अब इस पूरे नेटवर्क की डिजिटल ट्रेसिंग और कॉल डिटेल रिकॉर्ड्स के माध्यम से जांच कर रही है। यह संभावना जताई जा रही है कि अंशुल उर्फ डोना कई बार पहले भी गांजा लाने-ले जाने के काम में लिप्त रह चुका है, परंतु यह पहली बार है जब वह इतनी बड़ी मात्रा में गांजे के साथ पकड़ा गया।


इस ताजा गिरफ्तारी ने जहां खतौली पुलिस की सजगता को दर्शाया है, वहीं नशे के बढ़ते कारोबार पर एक बड़ा सवाल खड़ा किया है। अब देखना यह है कि इस गिरफ्तारी के बाद प्रशासन और सुरक्षा एजेंसियां किस हद तक इस संगठित अपराध के जड़ तक पहुंचने में सफल हो पाती हैं। आने वाले दिनों में खतौली सहित पूरे मुजफ्फरनगर जिले में इस तरह की और भी सघन जांच और कार्रवाई देखने को मिल सकती है।

 



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