Excise department is number one in giving revenue to UP government.

वित्त मंत्री सुरेश खन्ना
– फोटो : अमर उजाला

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अगस्त में सावन की वजह से शराब से होने वाली कमाई घट गई थी जिसकी भरपाई सितंबर में हो गई। अगस्त माह में प्रदेश सरकार के खजाने को भरने में आबकारी विभााग नंबर वन आया है। राज्य कर विभाग दूसरे नंबर पर और स्टांप व रजिस्ट्रेशन विभाग तीसरे नंबर पर है। पिछले वित्त वर्ष के सितंबर माह की तुलना में इस वित्त वर्ष प्रदेश सरकार को 1632 करोड़ रुपये का ज्यादा राजस्व प्राप्त हुआ है। प्रदेश सरकार के वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने ये जानकारी दी।

गुरुवार को राज्य सरकार की सितंबर आय के बारे में वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने बताया कि वित्त वर्ष 22-23 के सितंबर माह में राज्य सरकार को 12206 करोड़ रुपये का राजस्व मिला था। इस वित्त वर्ष 23-24 के सितंबर माह में राज्य सरकार को 13839 रुपये की आय हुई। यानी पिछले सितंबर की तुलना में इस बार 1632 करोड़ रुपये ज्यादा मिले, जो राज्य की लगातार बेहतर होती आर्थिक स्थिति का सूचक है।

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कमाई के मामले में शराब ने जीएसटी को पछाड़ा

कर सुधारों और नीतियों का परिणाम राजस्व में दिखाई दे रहा है। पिछले साल अगस्त के मुकाबले इस अगस्त को प्रदेश सरकार के खजाने में 1219 करोड़ रुपये अधिक आए। सावन और पुरुषोत्तम मास का असर आबकारी की आय में दिखाई दिया और पिछले अगस्त के मुकाबले इस अगस्त को आबकारी विभाग का राजस्व 18.19 करोड़ रुपये घट गया। शेष सभी कर व करेत्तर विभागों ने राजस्व का रिकार्ड बनाया। केन्द्र सरकार से विशेष मदद के रूप में यूपी को 17939 करोड़ स्वीकृत हुए हैं, जिसमें 11960 करोड़ मिल चुके हैं। ये जानकारी प्रदेश के वित्तमंत्री सुरेश खन्ना ने दी। उनके साथ अपर मुख्य सचिव दीपक कुमार व अन्य वरिष्ठ अधिकारी थे।

बुधवार को अगस्त माह के राजस्व का ब्योरा वित्तमंत्री सुरेश खन्ना ने साझा किया। वर्ष 2022-23 के अगस्त माह में 13024.44 करोड़ रुपये का राजस्व प्राप्त हुआ था। इस वित्त वर्ष 23-24 के अगस्त माह में 14243.82 करोड़ रुपये राजस्व के रूप में प्राप्त हुए। यानी पिछले अगस्त की तुलना में 1219.38 करोड़ रुपये राजस्व ज्यादा मिला। इसमें सबसे ज्यादा योगदान जीएसटी और वैट का रहा। आबकारी, स्टांप व निबंधन, परिवहन और भूतत्व व खनिकर्म भी राजस्व के प्रमुख स्रोत रहे।

बुनियादी विकास के लिए केन्द्र ने दिए 17939 करोड़

सुरेश खन्ना ने बताया कि राज्य को केन्द्र सरकार ने विशेष मदद के रूप में 17939 करोड़ रुपये स्वीकृत किए हैं। जिसमें 11960 करोड़ रुपये प्राप्त हो चुके हैं। इस धनराशि का उपयोग ऊर्जा, लोक निर्माण विभाग, परिवहन, इंफ्रा, औद्योगिक विकास और गृह विभाग में किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि ये ब्याज मुक्त लोन है, जिसे 50 वर्ष में वापस करना है।

 



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