
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ।
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प्रदेश में प्राकृतिक आपदा से बीते 24 घंटे में तीन लोगों की मौत हुई है। आकाशीय बिजली गिरने, अतिवृष्टि और सर्पदंश से एक-एक व्यक्ति की मौत हुई है। वहीं दस जिलों में सामान्य से अधिक बरसात हुई है। राहत आयुक्त जीएस नवीन कुमार के अनुसार बीते 24 घंटे में प्रदेश के कई जिलों में सामान्य से अधिक वर्षा हुई है। इसमें सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, औरया, बिजनौर, शामली, बहराइच, मेरठ, अलीगढ़, बरेली व बागपत जिले में भारी बारिश हुई है।
प्रदेश में एक जून से अब तक वर्षा का औसत सामान्य के सापेक्ष 111 प्रतिशत है। 16 जिलों में सामान्य से अधिक बरसात हुई है। 20 जिलों में सामान्य से कम, 23 जिलों में बहुत कम बरसात हुई है। उन्होंने बताया कि सिंचाई विभाग की रिपोर्ट के मुताबिक बदायूं में गंगा, मावी स्थल पर यमुना नदी, लखीमपुर खीरी में शारदा नदी खतरे के निशान से ऊपर बह रही है। प्रदेश के सहारनपुर व मुजफ्फरनगर को छोड़कर कहीं भी अतिवृष्टि या जलभराव के कारण लोगों को बाढ़ शरणालय पर ले जाने की आवश्यकता नहीं पड़ी है। सहारनपुर के 25 गांवों और 12 नगरीय मौहल्लों के 225 लोगों को 9 बाढ़ शरणालय में रखा गया है। मुजफ्फरनगर के बाढ़ से प्रभावित दो गांवों के 200 लोगों को बाढ़ शरणालय में रखा गया है।
इस बीच मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हिमाचल प्रदेश सरकार के अधिकारियों से समन्वय स्थापित कर वहां फंसे प्रदेश के नागरिकों की सुरक्षित वापसी के संबंध में सभी जरूरी प्रबंध करने का निर्देश दिया है। मंगलवार को उन्होंने अधिकारियों से कहा कि आपदा प्रभावित हिमाचल प्रदेश में फंसे व्यक्तियों एवं उनके संबन्धियों से संपर्क स्थापित करते हुए आवश्यक कार्यवाही की जाए।