Muzaffarnagar में गन्ना सीजन शुरू होते ही ट्रकों और गन्ना-भरी ट्रॉली का दबाव अचानक बढ़ गया है। बढ़ी हुई आवाजाही के साथ ओवरलोडिंग की समस्या फिर से उभर आई है, जिसने जिले की सड़कों और यातायात सुरक्षा को गंभीर खतरे में डाल दिया है।
लगातार बढ़ रही दुर्घटनाओं और अनियंत्रित ट्रैफिक स्थितियों को देखते हुए पुलिस प्रशासन अब पूर्ण सख्ती के मोड में आ गया है। इसी क्रम में पुलिस अधीक्षक (यातायात) अतुल कुमार चौबे के निर्देशन में एक विशेष गोष्ठी आयोजित की गई, जिसने गन्ना परिवहन व्यवस्था में सुधार की दिशा में महत्वपूर्ण कदम रखे।
⚡पुलिस लाइन सभागार में हुई महत्वपूर्ण बैठक — सभी गन्ना प्रबंधकों और ट्रांसपोर्टरों को बुलाया गया
पुलिस लाइन सभागार में आयोजित इस गोष्ठी में सहायक संभागीय परिवहन अधिकारी (ARTO) सुशील कुमार मिश्रा भी मौजूद रहे।
दोनों अधिकारियों ने मिलकर गन्ना प्रबंधकों, पेपर मिल ट्रांसपोर्ट प्रतिनिधियों और ट्रॉली-ट्रक मालिकों को सड़क सुरक्षा से जुड़ी अहम बातें बताईं।
बैठक के मुख्य मुद्दे:
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ओवरलोडिंग पर सख्त रोक
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रिफ्लेक्टर टेप, रेड लाइट और डेंजर बोर्ड अनिवार्य
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रात में गन्ना वाहन बिना लाइट नहीं चलेंगे
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ड्राइवरों के लिए नशा न करने के सख्त निर्देश
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गन्ना गिरने से होने वाली दुर्घटनाओं पर नियंत्रण
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मिलों और क्रय केंद्रों के बाहर ट्रैफिक व्यवस्था सुधारी जाएगी
🚨एसपी ट्रैफिक अतुल चौबे का स्पष्ट निर्देश — “ओवरलोडिंग बिलकुल बर्दाश्त नहीं!”
एसपी ट्रैफिक अतुल कुमार चौबे ने चेतावनी भरे अंदाज़ में कहा:
“कोई भी वाहन अपनी निर्धारित क्षमता से अधिक गन्ना नहीं ले जाएगा। ओवरलोड वाहन सार्वजनिक सुरक्षा के बड़े खतरे हैं और ऐसे वाहनों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।”
उन्होंने यह भी कहा कि कई बार ओवरलोडिंग के चलते वाहन के पीछे से गन्ना सड़कों पर गिरता है, जिससे पीछे आने वाले दोपहिया और चारपहिया वाहन गंभीर हादसों का शिकार हो जाते हैं।
चौबे ने साफ कहा कि—
“लोडिंग स्थल पर ही सावधानी बरती जाए ताकि गन्ना सड़क पर न टूटे-गिरे।”
🚦रात्रिकालीन गन्ना परिवहन पर सख्त नजर — रिफ्लेक्टर, रेड लाइट और डेंजर बोर्ड अनिवार्य
अधिकारी सुशील कुमार मिश्रा और अतुल कुमार चौबे दोनों ने कहा कि रात के समय चलने वाले गन्ना वाहनों पर रिफ्लेक्टर टेप, रेड लाइट, और डेंजर साइन बोर्ड लगाना जरूरी है।
उन्होंने गन्ना ट्रॉली मालिकों को यह सुनिश्चित करने के निर्देश दिए कि उनके वाहन काले धुंध में भी दूर से साफ दिखाई दें, ताकि हादसों की रोकथाम हो सके।
🍁ड्राइवरों पर सख्त निर्देश — नशा करके वाहन चलाने पर होगी कठोर कार्रवाई
बैठक में एक और महत्वपूर्ण निर्देश दिया गया—
“ड्राइवर वाहन चलाते समय किसी भी प्रकार का नशा न करें।”
नशे में वाहन चलाना दुर्घटना का प्रमुख कारण माना गया है। चौबे ने कहा कि यदि कोई ड्राइवर नशे में पकड़ा गया तो उसके खिलाफ सीधे धारा 279, 304A और मोटर व्हीकल एक्ट की विभिन्न धाराओं में कार्रवाई होगी।
🚛गन्ना क्रय केंद्रों और शुगर मिलों के बाहर ट्रैफिक को लेकर भी सख्ती
मुजफ्फरनगर में हर गन्ना सीजन के दौरान शुगर मिलों और खरीद केंद्रों के बाहर लंबे-लंबे जाम लगते हैं।
इसे ध्यान में रखते हुए अधिकारियों ने निर्देश दिए कि—
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ट्रॉली और ट्रकों का प्रवेश व्यवस्थित तरीके से किया जाए
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पार्किंग स्पॉट बनाए जाएं
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कोई भी वाहन सड़क पर लापरवाही से खड़ा न छोड़ा जाए
उन्होंने ट्रांसपोर्ट प्रबंधकों से कहा कि भीड़ प्रबंधन को लेकर वे अपने स्तर पर भी जिम्मेदारी निभाएं और पुलिस के साथ तालमेल रखें।
⚖️नियम तोड़ने वालों पर गिरेगी गाज — “वैधानिक कार्रवाई तय”
चौबे ने दोटूक कहा—
“ट्रैफिक पुलिस अब बिना किसी ढिलाई के नियमों का पालन कराएगी। उल्लंघन मिलने पर चालान, सीजिंग और कार्रवाई—सब तुरंत होगी।”
उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि बार-बार उल्लंघन करने वाले वाहन चालकों के लाइसेंस निलंबित करने का प्रस्ताव भी भेजा जाएगा।
📢RTI कार्यकर्ता सुमित मलिक की चिट्ठी से बढ़ी सख्ती की उम्मीद
बता दें कि आरटीआई कार्यकर्ता सुमित मलिक ने भी कमिश्नर सहारनपुर को पत्र लिखकर जिले में ओवरलोड गन्ना ट्रॉली और ट्रकों पर बड़ी कार्रवाई की मांग की थी।
उनकी चिट्ठी के बाद विभाग ने और भी सतर्कता बरती है।
यह माना जा रहा है कि आने वाले दिनों में पुलिस और परिवहन विभाग द्वारा बड़े स्तर पर संयुक्त अभियान भी चलाए जा सकते हैं।
मुजफ्फरनगर के लिए गन्ना सीजन आर्थिक गतिविधियों का बड़ा केंद्र है, लेकिन इसके साथ बढ़ते ओवरलोड वाहनों का खतरा भी गंभीर होता जा रहा है। ट्रैफिक पुलिस द्वारा जारी निर्देश न केवल दुर्घटनाओं में कमी ला सकते हैं बल्कि सुरक्षित, व्यवस्थित और अनुशासित गन्ना परिवहन प्रणाली की दिशा में भी महत्वपूर्ण कदम साबित होंगे।
