मोरना। मुजफ्फरनगर।(Muzaffarnagar News)शुकतीर्थ के प्रसिद्ध संत दण्डी स्वामी उमेशानन्द तीर्थ महाराज का ८२ वर्ष की आयु में परलोक गमन हो गया। संत के सँसार छोड़ जाने से तीर्थ नगरी में शोक की लहर दौड़ गयी है।गणमान्यों सहित साधु संतों ने गहरा दुःख प्रकट किया है।

शुकतीर्थ स्थित पाण्डव कालीन पार्वती धाम के जीर्णोद्धार दण्डी स्वामी उमेशानन्द तीर्थ का सोमवार की रात परलोक गमन हो गया।स्वामी उमेशानन्द तीर्थ के बृह्मलीन होने के समाचार से तीर्थ नगरी में शोक की लहर दौड़ गयी है। मंगलवार की सुबह बृह्मलीन संत की अंतिम यात्रा तीर्थ के मुख्य मार्गो से निकाली गयी। जिसमें श्रद्धालुओं ने नमन कर उनके अंतिम दर्शन किये।उनके ज्येष्ठ पुत्र प्रसिध्द ज्योतिषाचार्य अयोध्या प्रसाद मिश्र ने बताया कि स्वामी स्वामी उमेशानन्द तीर्थ सोमवार को माघ मेले में स्नान करने के लिये सेवकों सँग प्रयागराज जा रहे थे।

कि रात के समय गाजियाबाद रेलवे स्टेशन पर ट्रेन की प्रतीक्षा के समय उनकी तबियत अचानक बिगड़ गयी। तथा वह परलोक गमन कर गये।स्वामी उमेशानन्द तीर्थ महाराज मूल रूप से बांदा जनपद के गाँव परसौन्डा के निवासी थे।जिन्होंने १९८७ में शुकतीर्थ में आकर पाण्डव कालीन पार्वती धाम का जीर्णोद्धार किया।स्वामी उमेशानन्द तीर्थ हनुमान भक्ति, धार्मिक अध्यन,तथा साधारण व्यक्तित्व के लिये जाने जाते थे

।पार्वती धाम में वट वृक्ष की छाँव में मंत्रोच्चारण के बीच उन्हें समाधि दी गयी। इस अवसर पर जिला पंचायत अध्यक्ष डॉ. वीरपाल निर्वाल,मनोहर शर्मा,राम सहोदर मिश्रा, अयोध्या प्रसाद मिश्र,विनोद शर्मा,मुन्नालाल गर्ग,रामकुमार शर्मा,रामबीर सिंह,गौरव गर्ग,महिपाल राठी,संजय कौरी आदि ने श्रद्धांजलि प्रस्तुत की।



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