
अदालत।
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इलाहाबाद हाईकोर्ट ने खराब गुणवत्ता की सुगंधित सुपारी बेचने के मामले में आरोपी फर्म के मालिक और कर्मचारी को राहत देने से इन्कार कर दिया। कहा कि ट्रायल कोर्ट की कार्रवाई में कोई अवैधता नहीं है, इसलिए आवेदन खारिज किया जाता है। न्यायमूर्ति अरुण कुमार सिंह देशवाल की कोर्ट ने जगदीश प्रसाद और एक अन्य की याचिका पर यह आदेश दिया।
मामले में याची झांसी स्थित मेसर्स बालाजी ट्रेडर्स उरई नामक फर्म का मालिक है। खाद्य सुरक्षा अधिकारी ने 20 फरवरी 2020 को फर्म का निरीक्षण किया। इस दौरान सुगंधित सुपारी का नमूना लेकर जांच के लिए संबंधित प्रयोगशाला में भेजा गया। रिपोर्ट के अनुसार सुगंधित सुपारी के नमूने में तंबाकू था। साथ ही पैकेट पर शुद्ध मात्रा, वजन, निर्माण की तारीख, बैच नंबर, निर्माता का पूरा पता आदि का उल्लेख भी नहीं था। इस आधार पर मुकदमा पंजीकृत कराया गया। मजिस्ट्रेट ने शिकायत पर आवेदकों को तलब किया, जिसे हाईकोर्ट में चुनौती दी गई है।