लखीमपुर खीरी जिले में बाघ के हमले से गंभीर घायल हुए कुकरा गांव निवासी प्रदीप कुमार (12) की मौत हो गई। गंभीर हालत होने पर परिजन उसे लखनऊ ले गए थे। उपचार के दौरान मंगलवार सुबह प्रदीप ने दम तोड़ दिया। उसकी मौत से परिजनों में कोहराम मच गया।
गोला रेंजर संजीव तिवारी ने बताया कि बांकेगंज-कुकरा मार्ग किनारे सोमवार शाम बाघ के हमले में घायल हुए बालक प्रदीप के इलाज के लिए वन विभाग की टीम ने उसके चाचा वीरेंद्र कुमार को 27 हजार रुपये की आर्थिक मदद दी थी। मंगलवार सुबह नौ बजे लखनऊ के ट्रामा सेंटर में इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। मृतक के परिजनों को वन विभाग की ओर से नियमानुसार पांच लाख मुआवजे की धनराशि दिलाई जाएगी।
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कान से सिर मांस नोच ले गया था बाघ
दक्षिण खीरी वन प्रभाग की गोला रेंज के पास कुकरा गांव निवासी मोहन लाल का पुत्र प्रदीप कुमार (12) सोमवार शाम चार बजे अन्य साथियों के साथ कुकरा मार्ग किनारे हैप्पी सिंह के खेत में घास काटने गया था। इस दौरान गन्ने के खेत से निकले बाघ ने किशोर पर हमला कर दिया।
प्रदीप के सिर, गर्दन, पीठ, कंधे और दाहिने हाथ पर भी गहरे जख्म हुए थे। परिजन उसे सीएचसी ले गए, जहां डॉक्टरों ने प्राथमिक उपचार के बाद हालत गंभीर देखते हुए उसे जिला अस्पताल रेफर कर दिया। वहां से लखनऊ रेफर कर दिया गया था, जहां उसकी मौत हो गई।