संवाद न्यूज एजेंसी

झांसी। झांसी मंडल की ट्रेनों को अपग्रेड करने का काम किया जा रहा है। अभी तक ललितपुर-खजुराहो और महोबा-खजुराहो के लिए मेमू गाड़ी में नए एलएचबी कोच लगाए गए हैं। इन गाड़ियों के नंबर भी बदल दिए गए हैं। आज से यह ट्रेनें नए कोच के साथ संचालित होंगी। इसके लिए 16 कोच रेल मंडल को मिल चुके हैं। इन आधुनिक कोच में डिस्प्ले और उद्घोषणा के माध्यम से जानकारी दी जाएगी। ट्रेनों के नंबर भी बदले गए हैं।

झांसी रेल मंडल में एलएचबी कोच से धीरे-धीरे ट्रेनों को अपडेट किया जा रहा है। लेकिन कुछ पैंसेंजर ट्रेनों में आज भी आईसीएफ कोच का इस्तेमाल होता है। इन कोचों को दौड़ाने के लिए अलग से एक इंजन का उपयोग होता है। इस संरचना को बदलने के लिए अब आईसीएफ के स्थान पर मेमू कोच का अब इस्तेमाल होगा। इसकी खासियत यह होगी कि इसमें एक मेमू में 8 कार यान होंगे। इसमें सीट के अलावा अधिक यात्रियों को लेकर यात्रा करने में सक्षम होंगे। इसके अलावा इसमे एक डिस्प्ले होगा। इसमें ट्रेन नंबर के साथ ट्रेन के आगामी स्टेशन आने के पहले उद्घोषणा होगी। ताकि यात्री आराम से अपने गंतव्य पर उतर सकें। इसके अलावा इसमें आगे और पीछे गार्ड कम मेमू कंट्रोलर भी होगा। इससे ट्रेन की दूसरी दिशा में दौड़ाने के लिए समस्या नहीं होगी। यह सुविधा आज से यात्रियों को प्रदान की जाएगी।

ट्रेनों के कोच और नंबर में हुआ बदलाव

– वर्तमान ट्रेन नंबर 51817 खजुराहो-ललितपुर का नया नंबर आज से 64647 होगा।

– वर्तमान ट्रेन नंबर 51818 ललितपुर-खजुराहो का नया नंबर आज से 64648 होगा।

– वर्तमान ट्रेन नंबर 51821 महोबा-खजुराहो का नया नंबर आज से 64649 होगा।

– वर्तमान ट्रेन नंबर 51822 खजुराहो-महोबा का नया नंबर आज से 64650 होगा।

मेमू कोच के फायदे

मेमू कोच भी आईसीएफ ही बनाता है, लेकिन ये एक विशेष प्रकार की ट्रेन होती है। यह ट्रेन स्वयं चालित होती हैं, यानी प्रत्येक कोच में मोटर लगी होती है, इसलिए इंजन की आवश्यकता नहीं होती है। मेमू कोचों की गति आईसीएफ कोचों की तुलना में थोड़ी अधिक होती है। आईसीएफ कोचों की तुलना में सुरक्षा विशेषताएं बराबर होती हैं। इनका उपयोग उपनगरीय और छोटी दूरी की यात्राओं के लिए किया जाता है।

इन रूटों पर हो रहा उपयोग

मेमू कोच अभी कानपुर, बांदा और आगरा रूट पर ही संचालित किए जा रहे हैं। अब ललितपुर, खजुराहो और महोबा रूट पर मेमू संचालित की जाएगी। डीआरएम दीपक कुमार सिन्हा ने बताया कि कानपुर में यान का शेड है, इसलिए महोबा के लिए वाया कानपुर होकर कोच पहुंचे हैं, जबकि ललितपुर के लिए झांसी से होकर पहुंचे हैं। आज से शुरुआत होगी।



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