राजधानी से मुंबई के बीच चलने वाली ट्रेनों में त्योहारी सीजन खत्म होने के बाद भी वेटिंग कम नहीं हो रही। हालत यह है कि अब सामान्य दिनों में भी सीटें मिलनी मुश्किल हो गई हैं। बढ़ती मांग को देखते हुए रेलवे बोर्ड ने अधिकारियों से रिपोर्ट तलब की है। इसमें वेटिंग के कारण, उसके निवारण और नई ट्रेनें चलाने अथवा रेगुलर ट्रेनों में बोगियां बढ़ाने जैसे विकल्पों पर विस्तृत विवरण मांगा गया है।
वीआईपी ट्रेन पुष्पक एक्सप्रेस में अगले हफ्ते तक स्लीपर क्लास पूरी तरह रिग्रेट है, जबकि थर्ड एसी में पूरे सप्ताह 70 तक वेटिंग चल रही है। सीतापुर-एलटीटी की स्लीपर में 170, और थर्ड एसी में 80 वेटिंग है। इसी तरह गोरखपुर-पनवेल, कुशीनगर, अवध एक्सप्रेस जैसी ट्रेनों में भी लंबी वेटिंग यात्रियों की परेशानी बढ़ा रही है।
दिल्ली रूट पर चेयरकार की सीटें खाली मिल रही हैं और हावड़ा रूट की गाड़ियों में भी टिकट कन्फर्म मिल रहे हैं, लेकिन मुंबई रूट लगातार फुल है। यह स्थिति पूरे वर्ष होली से लेकर दीपावली और अन्य त्योहारों तक लगभग समान बनी रहती है।
नहीं मिलतीं तत्काल की सीटें
लखनऊ से दिल्ली सहित कई रूटों पर तत्काल कोटे में टिकट आसानी से मिल जाते हैं, पर लखनऊ-मुंबई रूट पर तत्काल में भी अक्सर वेटिंग ही मिलती है। इस रूट की ट्रेनों में तत्काल कोटे में 1,200 से अधिक सीटें होने के बावजूद यात्रियों को राहत नहीं मिल पा रही है।
