भाजपा प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी ने कहा कि सपा प्रमुख अखिलेश यादव की सनातन विरोधी मानसिकता एक बार फिर उजागर हो गई है। सपा प्रमुख कभी हिंदू रीति-रिवाज एवं आस्था से खिलवाड़ करते हैं तो अब उनके त्योहार पर भी टीका टिप्पणी करने से पीछे नहीं हट रहे हैं।
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने अखिलेश के बयान पर निशाना साधते हुए कहा कि सभी देशवासी दिवाली के पावन अवसर पर हर्षोल्लास के साथ स्वदेशी वस्तुओं की खरीदारी कर उत्सव मना रहे हैं, तो वहीं सपा प्रमुख इसको पैसों की बर्बादी बता रहे हैं। हिंदू धर्म और उनकी पवित्र आस्था के लिए भाजपा सरकार सदैव सजग और तत्पर है। वह दिये और मोमबत्तियों की खरीदारी को पैसे बर्बादी कह रहे हैं, यह बात तब क्यों नहीं सोची जब अपनी सरकार में कब्रिस्तानों की बाउंड्री बनवाने के लिए करोड़ों रुपये खर्च किए थे। ईद-मोहर्रम जैसे कार्यक्रमों में मंच साझा कर रहे थे। यह बयान दर्शाता है कि वह सनातन धर्म और संस्कृति के कट्टर विरोधी हैं। इस बयान और हिंदू विरोधी कुंठित मानसिकता के लिए प्रदेश अखिलेश यादव को कभी स्वीकार नहीं करेगा।
ये भी पढ़ें – अयोध्या में लगातार नौंवी बार दीपोत्सव का आयोजन, तस्वीरों में देखें भव्य रामनगरी की निराली छटा
ये भी पढ़ें – रामनगरी पहुंचे प्रभु श्रीराम, 29 लाख दीये जलाकर किया गया स्वागत; गिनीज बुक में दर्ज हुआ रिकॉर्ड
अपना बयान वापस लें अखिलेश
वहीं दूसरी ओर डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य ने अखिलेश यादव से बयान वापस लेने की मांग की है। उन्होंने कहा कि अखिलेश तुष्टीकरण और वोट बैंक की राजनीति के लिए हिंदू आस्था का अपमान करना बंद करें। भारतीय संस्कृति में दीपदान सदियों पुरानी परंपरा है। यह प्रकाश, सद्भाव, आस्था और श्रद्धा का प्रतीक है। उन्होंने अखिलेश पर दीपावली में दिये बेचने वाले प्रजापति समाज का रोजगार छीनने का घिनौना कृत्य करने और विश्वभर में दीपोत्सव मनाने वालों की आस्था को ठेस पहुंचाने का आरोप भी लगाया।