फतेहपुर। प्रदेश सरकार ने उद्यमियों को बेहतर माहौल देकर उद्योग लगाने के लिए प्रोत्साहित किया। उसका असर भी दिखा, जिले में लगभग 25 सौ करोड़ के 112 एमओयू हुए। समिट के बाद औद्योगिक क्षेत्र में 13 उद्योगों को छह महीने में लगाने का दावा किया गया, लेकिन पांच महीने बीत जाने के बाद भी जमीन पर एक भी उद्योग नहीं लग सके हैं। हालांकि मलवां में कुछ उद्योगों को एक महीने के भीतर लगने की उम्मीद जताई जा रही है।
फरवरी माह में इन्वेस्टर्स समिट दो में उद्यमियों ने रूचि दिखाई। इस समिट में 112 एमओयू हुए और 25 अरब 1 करोड़ के इंवेस्टमेंट का अनुबंध हुआ। इस दौरान यह भी दावा किया गया कि उद्योग लगने से करीब 4500 को रोजगार मिलेगा। इसमें एमएसएमई में 56 उद्यमियों ने करीब 675 करोड़ के एमओयू किए थे। फरवरी महीने में जिले के प्रभारी मंत्री राकेश सचान ने 6 महीने में 13 उद्योग स्थापित किए जाने की बात कही थी। मंत्री ने कहा था कि उद्योग लगाने के इच्छुक उद्यमियों को महज 72 घंटे के भीतर प्रशासन कागजी प्रक्रिया पूरी कर अनुमित पत्र जारी कर देगा। लेकिन उद्योग की कई प्रक्रियाएं अब तक कागजों में ही उलझी हुई है। यूपीसीडा से कुछ उद्योगों को जमीन दी जा चुकी है और एक-दो महीने में करीब छह उद्योग संचालित होने की संभावना जताई जा रही है।