
गिरफ्तार संजय शेरपुरिया।
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जालसाज संजय राय शेरपुरिया के कारनामों की फेहरिस्त लंबी होती जा रही है। एजेंसियों की जांच में सामने आया है कि शेरपुरिया ने अपने एजेंट को ईडी का अफसर बताकर उद्योगपति गौरव डालमिया से मुलाकात कराई थी।
दिल्ली के पांच सितारा होटल में हुई इस मुलाकात के दौरान एजेंट को ईडी का एडिशनल डायरेक्टर बताया गया था। एजेंट ने पूरे आत्मविश्वास के साथ डालमिया को केस खत्म कराने का भरोसा भी दिया था, लेकिन ऐन वक्त पर शेरपुरिया की पोल खुल गई और वह जांच एजेंसियों के निशाने पर आ गया।
सूत्रों की मानें तो शेरपुरिया के झूठ का खुलासा तब हुआ, जब डालमिया को केस लखनऊ यूनिट ट्रांसफर होने की जानकारी मिली। जब उसने शेरपुरिया से इसके बारे में पूछा तो वह गोलमाल जवाब देने लगा। उसने डालमिया को केस वापस दिल्ली ट्रांसफर करने का भरोसा भी दिया, लेकिन तब तक देर हो चुकी थी।
डालमिया के साथ ईडी के अफसर के नाम पर हो रही धोखाधड़ी की भनक एजेंसियों को मिली तो उसके इस एजेंट की तलाश शुरू हुई। इस दौरान नोएडा के कासिफ का नाम सामने आया जो शेरपुरिया का एजेंट था।
जांच एजेंसियों ने इसकी सूचना यूपी एसटीएफ को दी, जिसके बाद कासिफ को 19 अप्रैल और शेरपुरिया को 25 अप्रैल को दबोच लिया गया हालांकि कासिफ ने डालमिया से मिलने की बात से इनकार कर दिया। जांच एजेंसियां अब उससे सच उगलवाने में जुटी हैं।
शेरपुरिया को लेकर गुजरात पहुंची पुलिस, पूछताछ
नटवरलाल संजय शेरपुरिया से उसके दिल्ली ठिकानों पर दो दिनों तक पूछताछ कर साक्ष्य जुटाने के बाद पुलिस टीम रविवार शाम उसको लेकर गुजरात के गांधीनगर पहुंची। उसके तीन ठिकानों पर छापा मारा। ये तीनों ठिकाने शेरपुरिया के दफ्तर हैं। लंबी पूछताछ कर वहां से कई अहम दस्तावेज पुलिस ने कब्जे में लिए। पुलिस उसको लेकर उस होटल भी लेकर जाएगी जहां पर वह पहले वेटर था और फिर होटल मालिक की बेटी से शादी की थी।
दिल्ली में शेरपुरिया से पुलिस, एसटीएफ और ईडी के अफसरों ने पूछताछ की थी। कंपनी व संस्था संबंधी तमाम दस्तावेज जांच टीमों ने कब्जे में लिए थे। चूंकि शेरपुरिया का सबसे बड़ा साम्राज्य गुजरात में रहा। वहीं पर वेटर से हजार करोड़ की कंपनी मालिक बना। इसलिए उसको लेकर पुलिस गुजरात पहुंची है। पुलिस पता कर रही है कि किस तरह से उसने पूरा खेल किया। कहां कहां काम किया। कंपनी कैसे बनाई।
पहले ही खुलासा हो चुका है कि शेरपुरिया वेटर रहते हुए होटल मालिक की बेटी से शादी की थी। उसके बाद उसका साम्राज्य बढ़ता गया। पूछताछ में उसने बताया कि वह गुजरात में ही रहना चाहता था लेकिन उसकी कंपनी दिवालिया हो गई और वह बैंक डिफाल्टर हो गया।