
छोटी बहन कंचन और दिव्या आठवीं में पढ़ रही थीं, जबकि दिनेश की बेटी नैना छठवीं की छात्रा थी। रिश्तेदारों की दो बेटियां की भी हादसे में मौत हो गई। सुरेश की पांच बेटियों में मुस्कान, कंचन और दिव्या बड़ी थीं, दो छोटी कल्लो और सलोनी हैं। नैना चार भाई-बहनों में बड़ी थी। परिवार में भाई देव और दो छोटी बहनें नायरा व निक्की हैं।
हादसे के बाद मुस्कान की मां कांता देवी, नैना की मां दीपू का बुरा हाल था। कांता देवी बेटियों को पुकार रही थीं, कह रही थीं कि अब कभी नहीं आएंगी। मैं किसके साथ बाजार जाऊंगी। दादी मीना देवी चिल्ला रही थीं कि मेरी चिड़ियां उड़ गईं। कैसे मुश्किलों से पाला था। क्यों चली गईं, हमें क्यों छोड़ गईं।
गांव में शोक की लहर
नगला नाथू निषाद बहुल गांव है। अनुसूचित जाति के विजय सिंह और उनके परिवार के आठ घर हैं। हादसे के बाद गांववालों ने परिजन को ढांढस बंधाया। गांव में शाम को चूल्हे तक नहीं जले।
यमुना में डूबीं तीन सगी बहनों सहित छह किशोरियों की मौत
आगरा के थाना सिकंदरा क्षेत्र में मंगलवार की सुबह यमुना किनारे बसे गांव नगला नाथू की रहने वालीं तीन सगी बहनें अपनी हमउम्र मौसी, मौसेरी बहन और चचेरे भाई-बहनों के साथ नहाने गई थीं। इस दौरान गहरे पानी में छह किशोरियां डूब गई। चचेरे भाई ने शोर मचाया तो खेतों में काम कर रहे ग्रामीण मौके पर पहुंचे। आधा घंटे की मशक्कत के बाद सभी को बाहर निकाला। पुलिस की एक जीप से चार किशोरियों को एसएन इमरजेंसी ले जाया गया। जहां चिकित्सकों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।